PETA इंडिया का नया बिलबोर्ड अभियान लोगों को देसी पशु गोद लेने के लिए प्रोत्साहित करता है
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13 August 2021
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दिल्ली- पीपल फॉर द एथिकल ट्रीटमेंट ऑफ एनिमल्स (PETA) इंडिया ने स्वतंत्रता दिवस (15 अगस्त) से ठीक पहले, दिल्ली और मुंबई, बेंगलुरु, चेन्नई, हैदराबाद एवं कोलकाता में बिलबोर्ड लगाकर लोगों को प्रोत्साहित किया कि वह अपनी देशभक्ति का प्रदर्शन करते हुए सड़क या पशु आश्रयों से किसी प्यारे देसी कुत्ते को गोद लें और विदेशी कुत्तों की बिक्री करने वाले पैट शॉप या ब्रीडर का समर्थन न करें जिससे बेघर जानवरों की समस्या को बढ़ावा मिलता है।
दिल्ली में यह बिलबोर्ड मिंटो रोड क्रॉसिंग, कनॉट प्लेस (नई दिल्ली रेलवे स्टेशन की तरफ) में लगाया गया है।
इस विज्ञापन की एक प्रति को अनुरोध करने पर उपलब्ध करवाया जाएगा।
PETA इंडिया की सीनियर कैम्पेन्स कोर्डिनेटर राधिका सूर्यवंशी कहती हैं- “वर्तमान में लाखों बेघर भारतीय कुत्ते और बिल्लियाँ अपना जीवन सड़कों और पशु आश्रयों में बिता रहे हैं, ऐसे में जानवरों को जबरन पैदा कराना या उन्हें खरीदना बहुत गैर जिम्मेदार कदम है। जब भी कोई व्यक्ति पशु बिक्री दुकानों से या किसी ब्रीडर से “विदेशी नस्ल” के कुत्ते या बिल्ली को खरीदता है तो किसी देसी पशु को उसका घर मिलने का अवसर समाप्त हो जाता है।“
कुत्तों की बिक्री करने वाले यह पैट शॉप या ब्रीडर जिन मादा कुत्तों को अपने केन्द्रों पर रखकर उनसे बच्चे पैदा करवाते हैं उन्हें पर्याप्त भोजन, चिकित्सा, देखभाल, व्यायाम एवं सामाजिक गतिविधियों से वंचित रखते हैं। जबकि सामुदायिक कुत्ते और बिल्लियाँ को शोषण एवं भुखमरी का सामना करना पड़ता है या अक्सर चलती सड़क पर गाड़ियों से टक्कर खाकर उन्हें भयानक चोटे लगती हैं। अनगिनत पशुओं को अपना जीवन पशु आश्रयों में बिताना पड़ता है क्योंकि
उन्हें गोद लेने के लिए कोई प्यारभरा परिवार सामने नहीं आता। इसलिए PETA इंडिया सामुदायिक जानवरों को गोद लेने पर जोर देता है और सभी अभिभावकों से अपने साथी कुत्ते और बिल्ली की नसबंदी कराने का आग्रह करता है।
माधुरी दीक्षित, आलिया भट्ट, सोनाक्षी सिन्हा, रवीना टंडन, तृषा कृष्णन, डिनो मोरिया और इमरान खान जैसी मशहूर हस्तियों ने PETA इंडिया के साथ काम करके अपने प्रशंसकों से सामुदायिक कुत्ते और बिल्लियों को अपनाने का आग्रह किया है।
PETA इंडिया जो इस सिद्धांत में विश्वास रखता है कि “जानवर किसी भी तरह से हमारा दुर्व्यवहार सहने के लिए नहीं है”, प्रजातिवाद का विरोध करता है। प्रजातिवाद एक ऐसी विचारधार है जिसमे इंसान स्वयं को इस दुनिया में सर्वोपरि मानकर अपने फायदे के लिए अन्य प्रजातियों का शोषण करना अपना अधिकार समझता है। अधिक जानकारी के लिए कृपया हमारी वेबसाईट PETAIndia.com पर जाएँ और हमें Twitter, Facebook या Instagram पर फॉलो करें।