PETA इंडिया के दबाव के बाद दिल्ली टेक्नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी ने एक चूहे को जलाकर मारने के आरोप में दो छात्रों को निलंबित किया
दिल्ली टेक्नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी के दो छात्रों के खिलाफ प्लास्टिक के एक छोटे डिब्बे में चूहे को कैद करने और उसे जलाकर मारने के आरोप में FIR दर्ज होने के बाद, PETA इंडिया ने विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. प्रतीक शर्मा जी से मुलाकात करके उनसे दोषी छात्रों के खिलाफ सख्त अनुशासनात्मक कार्रवाही करने का आग्रह किया था। इस अनुरोध के परिणामस्वरूप, विश्वविद्यालय ने एक आधिकारिक आदेश जारी करके इन दोनों छात्रों को अपनी हॉस्टल सुविधा से हमेशा के लिए निष्कासित कर दिया है और दो हफ्तों के लिए कक्षाओं से भी निलंबित कर दिया है। इसके साथ-साथ प्रत्येक छात्र पर 10,000 रुपये का जुर्माना लगाया गया है और इन्हें अपनी डिग्री खत्म करने तक प्रोबेशन पर डाल दिया गया है। इन दोनों छात्रों को भविष्य में इस प्रकार के कृत्यों में शामिल न होने की शपथ लेनी होगी। इन छात्रों के माता-पिता को इनका मनोरोग मूल्यांकन कराने और एक महीने के भीतर रिपोर्ट जमा कराने का निर्देश भी दिया गया है।
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PETA इंडिया इस अभियुक्त की मनोदशा का मूल्यांकन और काउंसलिंग की सिफारिश करता है क्योंकि जानवरों के प्रति शोषण के कृत्य एक गहरी मानसिक अशांति को इंगित करते हैं। शोध से पता चला है कि जो लोग जानवरों के खिलाफ क्रूरता करते हैं, वह आगे चलकर जानवरों या मनुष्यों को भी चोट पहुंचाने का प्रयास करते हैं। फोरेंसिक रिसर्च एंड क्रिमिनोलॉजी इंटरनेशनल जर्नल में प्रकाशित एक अध्ययन में पाया गया कि “जो लोग पशु क्रूरता में शामिल होते हैं, उनके अन्य अपराध करने की संभावना 3 गुना अधिक होती है, जिसमें हत्या, बलात्कार, डकैती, हमला, उत्पीड़न, धमकी और नशीली दवाओं/मादक द्रव्यों का सेवन शामिल है।”
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