PETA इंडिया के वर्ष 2020 के सर्वश्रेष्ठ बिलबोर्ड अभियान
वर्तमान महामारी के कारण हम सबके जीवन में बहुत से बदलाव आए हैं, लेकिन इस कठिन समय में भी PETA इंडिया सार्वजनिक जगहों पर बिलबोर्ड लगवाकर यह सुनिश्चित कर रहा है कि हमारे विभिन्न अभियान सार्वजनिक तौर पर सक्रिय रहें और लोग जानवरों के प्रति होने वाली क्रूरता के खिलाफ़ सजग रहें। वर्ष 2020 के हमारे सर्वश्रेष्ठ बिलबोर्ड ये हैं:
विश्व वीगन माह (World Vegan Month) के उपलक्ष्य में, चित्रा विज्ञापन एजेंसी ने संवेदनशीलता का परिचय देते हुए PETA इंडिया को बेहतरीन क्षेत्रों में बिलबोर्ड लगाने के लिए जगह दी जहां PETA इंडिया ने मछ्ली, सूअर, मुर्गी और बकरी के बिलबोर्डों को लगवाया और लोगों से इन सजग और संवेदनशील जानवरों के बजाय स्वस्थ शाकाहारी भोजन खाने का अनुरोध किया।
हमने बेंगलुरु, चेन्नई, दिल्ली, हैदराबाद, कलकत्ता और मुंबई जैसे बड़े शहरों में भेड़, गाय, एवं सरीसृप (reptiles) के बिलबोर्ड लगवाकर उपभोक्ताओं से अनुरोध किया कि वह जानवरों पर क्रूरता करके उत्पन्न ऊन, चमड़े और विदेशी जानवरों की खालों का बहिष्कार करें एवं जानवरों के साथ एक सजीव प्राणी की तरह व्यवहार करें न कि उन्हें स्वेटरों, जूतों, बेल्टों और बैगों का एक निजीव स्रोत समझें।
अमूल द्वारा ऑस्कर विजेता अभिनेता Joaquin Phoenix के प्रतीकात्मक चेहरे पर मक्कन सने असंवेदनशील विज्ञापन के प्रकाशन उपरांत, लंबे समय से वीगन जीवनशैली अपना चुके PETA इंडिया के समर्थकों द्वारा बेंगलुरु, दिल्ली और मुंबई के लोगों को वीगन बनने और प्रजातिवाद का विरोध करने हेतु रचनात्मक ढंग से प्रोत्साहित किया गया। प्रजातिवाद मनुष्य की वह वर्चस्ववादी सोच है जिसमे वह स्वयं को दुनिया में सर्वश्रेष्ठ मानकर अपने फ़ायदों के लिए दूसरी अन्य प्रजातियों के शोषण करने को सही मानता है।
वेलेंटाइंस डे के खास अवसर पर युवाओं को वीगन बनने हेतु प्रोत्साहित करने के लिए, PETA इंडिया ने बेंगलुरु, चेन्नई, दिल्ली, हैदराबाद, मुंबई और पुणे के कॉलिजों और विश्वविद्यालयों के बाहर बिलबोर्ड लगवाए जिनमें एक प्यारे चूज़े ने छात्रों से मांस और अंडों का बहिष्कार करने का आग्रह किया और छात्रों को समझाया कि वीगन जीवनशैली से जानवरों, पर्यावरण एवं मानव सेहत को क्या-क्या लाभ होता है।
सनी लिओनी ने एक अविस्मरणीय बिलबोर्ड के माध्यम से लोगों को याद दिलाया कि चमड़ा एक अत्यंत क्रूर विकल्प है और उपभोगकर्ताओं से केवल वीगन उत्पाद खरीदने और प्रयोग करने का अनुरोध किया। चमड़ा उद्योग हर साल लाखों गायों, भैसों और अन्य सचेत जानवरों को उनकी चमड़ी हेतु मौत के घाट उतारता है जबकि आज के समय में कपड़े और जूतों की लगभग सभी बड़ी दुकानों में वीगन विकल्प उपलब्ध हैं।
PETA इंडिया का बिलबोर्ड अभियान इस ओर साफ़ संकेत करता हैं कि हम जानवरों के हक़ की लड़ाई का बहुत मज़बूती से समर्थन करते है और हर संभव तरीके से जानवरों के लिए आवाज़ उठाते है। आप इस दुनिया को ज़्यादा दयालु और जानवरों के लिए ज़्यादा सुरक्षित बनाने हेतु PETA इंडिया को डोनेशन देकर हमारा समर्थन दान देकर कर सकते हैं!